ईपीएफओ ने नौकरी बदलने पर पीएफ खाता ट्रांसफर की प्रक्रिया को सरल किया

ईपीएफओ ने नौकरी बदलने पर पीएफ खाता ट्रांसफर की प्रक्रिया को सरल किया

कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) ने अब नौकरी बदलने पर पीएफ खाते के ट्रांसफर को और सरल बना दिया है। अब अधिकांश मामलों में नियोक्ता से मंजूरी की जरूरत नहीं होगी। इस बदलाव से 1.25 करोड़ से अधिक ईपीएफओ सदस्य को लाभ होगा। पहले, पीएफ राशि के ट्रांसफर के लिए दो ईपीएफ कार्यालयों की भागीदारी जरूरी होती थी: स्रोत और गंतव्य कार्यालय। अब यह प्रक्रिया काफी सरल हो गई है, जिससे कर्मचारियों को परेशानी का सामना नहीं करना पड़ेगा।

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मुख्य बदलाव:

  1. नियोक्ता से मंजूरी की जरूरत नहीं: अब कर्मचारी बिना नियोक्ता से मंजूरी लिए अपने पुराने या नए नियोक्ता के माध्यम से पीएफ राशि का ट्रांसफर कर सकते हैं।
  2. समय की बचत: इस नए नियम से पीएफ ट्रांसफर की प्रक्रिया में लगने वाला समय कम होगा और सालाना करीब 90,000 करोड़ रुपये के ट्रांसफर में आसानी होगी।
  3. कई यूएएन बनाने की सुविधा: अब कंपनियां एक साथ कई कर्मचारियों के यूएएन (यूनिवर्सल अकाउंट नंबर) बना सकती हैं, इसके लिए आधार डेटा की आवश्यकता नहीं होगी।
  4. नई प्रक्रिया और ऑनलाइन फॉर्म-13: अब ईपीएफओ ने संशोधित फॉर्म-13 सॉफ़्टवेयर की व्यवस्था की है, जिससे ट्रांसफर के दावे के अनुमोदन की आवश्यकता समाप्त हो गई है। एक बार स्रोत कार्यालय से ट्रांसफर आवेदन स्वीकृत हो जाने के बाद, पिछला खाता स्वचालित रूप से नए कार्यालय में स्थानांतरित हो जाएगा।

राहत के मामलों में:

  • एक ही यूएएन में ट्रांसफर (01/10/2017 के बाद जारी): यदि एक ही यूएएन में कई आईडी और आधार जुड़े हैं, तो ट्रांसफर बिना किसी समस्या के होगा।
  • विभिन्न यूएएन के बीच ट्रांसफर (01/10/2017 के बाद जारी): यदि कर्मचारियों के पास एक ही आधार से जुड़े कई यूएएन हैं, तो सिस्टम उन्हें एक व्यक्ति के रूप में पहचानकर ट्रांसफर की अनुमति देगा।
  • पुराने यूएएन के लिए ट्रांसफर (01/10/2017 से पहले जारी): ट्रांसफर तभी संभव होगा जब यूएएन आधार से जुड़ा हो और सदस्य की जानकारी मेल खाती हो।

ईएसआईसी में वृद्धि: 15.43 लाख नए सदस्य जुड़े

कर्मचारी राज्य बीमा निगम (ईएसआईसी) से फरवरी 2025 में 15.43 लाख नए सदस्य जुड़े हैं। इनमें से 7.36 लाख सदस्य पहली बार नौकरी में आए 25 वर्ष से कम उम्र के युवा हैं। इसके अलावा, 3.35 लाख महिला कर्मचारी भी इस योजना से जुड़ी हैं।

ईएसआईसी से जुड़े संस्थानों की संख्या भी तेजी से बढ़ रही है, जिससे श्रमिकों की संख्या में वृद्धि हो रही है। 23,526 नए प्रतिष्ठान फरवरी में पंजीकृत हुए हैं। इसके साथ ही, 691 जिलों को अधिसूचित किया जा चुका है, और अन्य जिलों को भी जल्द अधिसूचित किया जाएगा।

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