🏫 यूपी के 18 मॉडल स्कूल अब यूपी बोर्ड से संचालित होंगे, सीबीएसई का होगा अलगाव
लखनऊ, 22 मई 2024 – उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षा विभाग ने एक बड़ा निर्णय लेते हुए पं. दीन दयाल उपाध्याय राजकीय मॉडल विद्यालयों को सीबीएसई के बजाय यूपी बोर्ड से संचालित करने का प्रस्ताव सरकार को भेज दिया है। यह निर्णय प्रदेश के सभी 18 मंडल मुख्यालयों में स्थित अंग्रेजी माध्यम के इन स्कूलों पर लागू होगा।
🔍 प्रमुख कारण:
- शिक्षकों की कमी:
- सीबीएसई मानकों के अनुसार योग्य शिक्षकों की तैनाती नहीं हो पा रही थी।
- समय-समय पर सीबीएसई को जवाबदेही देनी पड़ती थी।
- नवीनीकरण फीस का झंझट:
- सीबीएसई हर 5 साल में ₹25,000 नवीनीकरण फीस लेता है।
- सरकारी स्कूलों के लिए इसका कोई अलग बजट नहीं है।
- पाठ्यक्रम में समानता:
- यूपी बोर्ड ने भी एनसीईआरटी पाठ्यक्रम अपना लिया है, इसलिए अब सीबीएसई का कोई खास लाभ नहीं रह गया है।
📌 क्या होगा प्रभाव?
- छात्रों को यूपी बोर्ड की परीक्षा देनी होगी।
- शिक्षकों की भर्ती प्रक्रिया सरल होगी।
- सरकारी खर्च में कमी आएगी।
🎓 कस्तूरबा गांधी विद्यालयों में अब कक्षा 9 से 12 तक की पढ़ाई
प्रदेश के कस्तूरबा गांधी आवासीय बालिका विद्यालयों में इस सत्र से पहली बार कक्षा 9 से 12 तक की पढ़ाई शुरू की जा रही है।
📊 जिलेवार अपडेट (प्रयागराज):
- 20 विद्यालयों में से 9 को उच्चीकृत किया गया।
- 6 विद्यालयों (बहरिया, कौंधियारा, सोरांव, शंकरगढ़, सैदाबाद, हंडिया) में केवल छात्रावास की सुविधा दी जा रही है।
- 3 विद्यालयों (मेजा, धनुपुर, कौड़िहार) में हॉस्टल + कक्षाएं शुरू होंगी।
👩🏫 भर्ती प्रक्रिया:
- 48 शिक्षक/कर्मचारी पदों पर चयन जल्द।
- 750+ आवेदन प्राप्त, जिनमें PGT, लैब असिस्टेंट, लिपिक आदि शामिल हैं।
- जुलाई तक चयन प्रक्रिया पूरी होने की उम्मीद।
❓ क्या होगा आगे?
- क्या यूपी बोर्ड से जुड़ने से इन मॉडल स्कूलों की शिक्षा गुणवत्ता प्रभावित होगी?
- क्या कस्तूरबा विद्यालयों में उच्च कक्षाएं शुरू होने से बालिका शिक्षा को बढ़ावा मिलेगा?
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(📰 स्रोत: माध्यमिक शिक्षा निदेशालय, यूपी सरकार)