परिषदीय शिक्षकों का आंदोलन: पति-पत्नी की एक जिले में तैनाती की मांग, महानिदेशक ने दिया आश्वासन 🏫✊
मुख्य बिंदु:
- सैकड़ों शिक्षकों ने बेसिक शिक्षा निदेशालय में धरना देकर सामान्य तबादले की मांग की।
- पति-पत्नी दोनों शिक्षक अलग-अलग जिलों में तैनात, परिवार की देखभाल में परेशानी।
- महानिदेशक ने गर्मी की छुट्टियों में तबादले करने का आश्वासन दिया।
📢 शिक्षकों ने उठाई आवाज, धरना प्रदर्शन किया
प्रदेश के परिषदीय विद्यालयों में तबादले को लेकर शिक्षकों का आक्रोश बढ़ता जा रहा है। मंगलवार को बड़ी संख्या में शिक्षक बेसिक शिक्षा निदेशालय पहुंचे और धरना देकर सामान्य तबादले की मांग की। दोपहर बाद उनकी महानिदेशक स्कूल शिक्षा, कंचन वर्मा से मुलाकात हुई, जहां उन्होंने शिक्षकों की समस्याएं सुनीं।
💔 पति-पत्नी शिक्षकों की दर्दभरी कहानी
शिक्षकों ने बताया कि परस्पर तबादले (Mutual Transfer) की प्रक्रिया में कई शिक्षकों को उचित जोड़ा (Pair) नहीं मिल पाता, जिसके कारण वे तबादले से वंचित रह जाते हैं। कई ऐसे शिक्षक दंपत्ति हैं, जो अलग-अलग जिलों में तैनात हैं, जबकि उनके बुजुर्ग माता-पिता किसी तीसरे स्थान पर रहते हैं।
कुछ मामले:
- एक शिक्षक गोरखपुर में, तो दूसरा आजमगढ़ में।
- कई जोड़े 200-300 किमी दूर तैनात, परिवार संभालने में दिक्कत।
- सामान्य तबादले न होने से पारिवारिक जीवन प्रभावित।
🗣️ शिक्षकों की मांग:
- पति-पत्नी दोनों शिक्षकों को एक ही जिले में तबादला किया जाए।
- बिना शर्त तबादले की व्यवस्था लागू हो।
- परस्पर तबादले के अलावा सामान्य तबादले भी किए जाएं।
✅ महानिदेशक ने दिया आश्वासन
धरना प्रदर्शन के बाद महानिदेशक कंचन वर्मा ने शिक्षकों से बातचीत की और गर्मी की छुट्टियों के दौरान तबादले प्रक्रिया पूरी करने का आश्वासन दिया। हालांकि, शिक्षकों की मांग है कि इस बार पारदर्शी तरीके से तबादले किए जाएं, ताकि उनकी समस्याओं का समाधान हो सके।
✍️ निष्कर्ष:
शिक्षकों की यह लड़ाई नौकरी के साथ परिवार को साथ रखने के अधिकार की लड़ाई है। अगर विभाग ने जल्द और न्यायसंगत तबादले किए, तो हजारों शिक्षकों को राहत मिलेगी। अब देखना है कि महानिदेशक का आश्वासन कितना जमीन पर उतरता है।
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