परिषदीय विद्यालयों में डिजिटल साक्षरता को बढ़ावा, बंद करने की कोई योजना नहीं – शिक्षा मंत्री
लखनऊ: उत्तर प्रदेश विधानसभा में मंगलवार को प्रश्न प्रहर के दौरान बेसिक शिक्षा राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) संदीप सिंह ने स्पष्ट किया कि सरकार परिषदीय विद्यालयों में डिजिटल साक्षरता को बढ़ावा देने के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने बताया कि प्रत्येक विद्यालय में दो टैबलेट और स्मार्ट क्लासरूम की सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है।
विद्यालयों को बंद करने की योजना नहीं
सपा विधायक डॉ. रागिनी सोनकर ने सदन में सवाल किया कि क्या सरकार परिषदीय विद्यालयों को बंद करने की योजना बना रही है? इस पर शिक्षा मंत्री संदीप सिंह ने स्पष्ट किया कि ऐसा कोई प्रस्ताव नहीं है। उन्होंने यह भी बताया कि सरकार परिषदीय विद्यालयों के बच्चों को अंग्रेजी शिक्षा प्रदान करने के लिए शिक्षकों को प्रशिक्षित कर रही है।
अंग्रेजी शिक्षा को लेकर सरकार की पहल
शिक्षा मंत्री ने बताया कि –
✔ 1.65 लाख शिक्षकों को प्रशिक्षण दिया जा चुका है।
✔ विद्यालयों में डिजिटल सामग्री उपलब्ध कराई जा रही है।
✔ पुस्तकों में क्यूआर कोड दिए गए हैं, जिससे छात्रों को अतिरिक्त डिजिटल संसाधन मिल सकें।
✔ सभी विद्यालयों में अंग्रेजी एक विषय के रूप में पढ़ाई जा रही है।
जल जीवन मिशन: टूटी सड़कों की होगी मरम्मत
विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष माता प्रसाद पांडेय ने जल जीवन मिशन के तहत पाइपलाइन बिछाने के कारण सड़कों के टूटने का मुद्दा उठाया। इस पर संसदीय कार्यमंत्री सुरेश कुमार खन्ना ने आश्वासन दिया कि –
✔ हर टूटी हुई सड़क को पूर्व की स्थिति में लाया जाएगा।
✔ जल जीवन मिशन के तहत पाइपलाइन बिछाने के काम में देरी का कारण केंद्र सरकार से धनराशि मिलने में देरी है।
निष्कर्ष
सरकार परिषदीय विद्यालयों को डिजिटल रूप से सशक्त कर रही है और अंग्रेजी शिक्षा को बेहतर बनाने के लिए शिक्षकों को प्रशिक्षित कर रही है। वहीं, जल जीवन मिशन के तहत सड़कों की मरम्मत पर भी ध्यान दिया जा रहा है। विधानसभा में इन मुद्दों पर चर्चा के बाद सरकार ने जनता को राहत देने के लिए उचित कदम उठाने का आश्वासन दिया।