नया सत्र शुरू होने से पहले विद्यालयों तक पाठ्यपुस्तकें न पहुंचाई तो नपेंगे बीएसए
शिक्षकों से किताबों की ढुलाई कराई तो होगी कड़ी कार्रवाई
पाठ्यपुस्तकों की समय पर आपूर्ति सुनिश्चित करने के निर्देश
परिषदीय प्राथमिक व उच्च प्राथमिक विद्यालयों में शैक्षिक सत्र 2025-26 के लिए पाठ्यपुस्तकों की समय पर आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिए शिक्षा विभाग ने सख्त कदम उठाए हैं। महानिदेशक स्कूल शिक्षा कंचन वर्मा ने सभी जिलों के बेसिक शिक्षा अधिकारियों (बीएसए) को निर्देश दिए हैं कि पुस्तकें न केवल ब्लॉक संसाधन केंद्रों (बीआरसी) तक पहुंचें, बल्कि हर विद्यालय तक समय पर पहुंचाई जाएं।
ब्लॉक स्तर पर नहीं, विद्यालय तक पहुंचाई जाएंगी किताबें
पिछले सत्र में शिकायतें आई थीं कि किताबें केवल ब्लॉक संसाधन केंद्रों तक पहुंचाई गईं, जिससे शिक्षकों को स्वयं किताबें विद्यालय तक लाने की जिम्मेदारी उठानी पड़ी। कई मामलों में शिक्षकों ने मोटरसाइकिल और साइकिल के जरिए किताबें ढोईं। इस बार विभाग ने स्पष्ट किया है कि शिक्षकों से ढुलाई का कार्य कराना पूरी तरह प्रतिबंधित होगा।
विभागीय निगरानी और शिकायत व्यवस्था
पाठ्यपुस्तकों की ढुलाई की प्रक्रिया की निगरानी विद्या समीक्षा केंद्र के माध्यम से की जाएगी। किसी भी प्रकार की लापरवाही या शिक्षकों से ढुलाई कराने की शिकायत मिलने पर संबंधित खंड शिक्षा अधिकारी (बीईओ) और बीएसए से जवाब-तलब किया जाएगा।
शिक्षकों और अन्य व्यक्तियों को गोपनीय शिकायतें दर्ज कराने की सुविधा भी दी जाएगी, ताकि समय पर कार्रवाई सुनिश्चित की जा सके।
ढुलाई खर्च के लिए बजट की व्यवस्था
ब्लॉक और विद्यालय स्तर पर किताबों की ढुलाई के लिए खर्च का आकलन कर बजट मांगा जाएगा। बीएसए को निर्देश दिए गए हैं कि वे यह सुनिश्चित करें कि बजट की कमी के कारण किताबों की आपूर्ति में कोई बाधा न आए।
समय पर किताबें न पहुंची तो होगी कार्रवाई
यदि किसी जिले में किताबें समय पर विद्यालय तक नहीं पहुंचतीं या शिक्षकों से ढुलाई कराई जाती है, तो संबंधित बीईओ और बीएसए की जिम्मेदारी तय की जाएगी। विभाग ने यह भी स्पष्ट किया है कि शिकायतों की उपेक्षा करने पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी।