आयकर नियमों में इस साल के बदलाव 2025 में भी डालेंगे असर
इस साल आयकर नियमों में किए गए बदलाव 2025 में भी अहम असर डालेंगे। जुलाई 2025 में आयकर रिटर्न (आईटीआर) भरते समय इन परिवर्तनों को ध्यान में रखना जरूरी होगा। ये बदलाव न केवल करदाताओं की आय पर असर डालेंगे, बल्कि उनकी बचत योजनाओं को भी प्रभावित करेंगे।
नई आयकर स्लैब में बदलाव
सरकार ने नई कर व्यवस्था के तहत आयकर स्लैब में बदलाव किए हैं, जिससे नौकरीपेशा और अन्य करदाताओं को राहत मिलेगी।
- स्टैंडर्ड डिडक्शन: 50,000 रुपये से बढ़ाकर 70,000 रुपये कर दिया गया है।
- पारिवारिक पेंशनभोगियों: 15,000 रुपये से बढ़ाकर 25,000 रुपये की कटौती सीमा निर्धारित की गई है।
- असर: इससे करदाताओं की देनदारी में कमी आएगी और वे अधिक बचत कर सकेंगे।
कैपिटल गेन्स टैक्स में संशोधन
सरकार ने कैपिटल गेन्स टैक्स नियमों को सरल बनाते हुए कई बदलाव किए हैं:
- इक्विटी और इक्विटी आधारित म्यूचुअल फंड के शॉर्ट टर्म कैपिटल गेन्स (STCG) पर कर की दर 15% से बढ़ाकर 20% कर दी गई है।
- लॉन्ग टर्म कैपिटल गेन्स (LTCG) पर 12.5% की समान दर लागू होगी।
- LTCG पर एक लाख रुपये के बजाय 1.25 लाख रुपये तक छूट मिलेगी।
- मकान बिक्री से होने वाले LTCG पर दो विकल्प:
- इंडेक्सेशन लाभ के साथ 20% कर दर।
- इंडेक्सेशन लाभ के बिना 12.5% कर दर।
असर: कैपिटल गेन्स टैक्स की गणना सरल हो गई है।
2025 में निवेश पर असर
इक्विटी बाजार
2024 में सेंसेक्स ने 8.94% और निफ्टी ने 9.82% रिटर्न दिया। 2025 में विदेशी निवेशकों की वापसी और IPO बाजार के सक्रिय रहने से इक्विटी में 10% से 35% रिटर्न मिलने की उम्मीद है।
- इंजीनियरिंग, रियल एस्टेट, और डिजिटलीकरण आधारित स्टॉक्स पर ध्यान दें।
- कुल निवेश का 50% इक्विटी में लगाएं।
सोना और चांदी
2024 में सोना और चांदी ने क्रमश: 24% और 17% का रिटर्न दिया। 2025 में सोने में 12-15% और चांदी में अच्छा रिटर्न मिलने की उम्मीद है।
- सोने का भाव 90,000 रुपये प्रति 10 ग्राम तक जा सकता है।
- कुल निवेश का 10-15% सोने में लगाएं।
म्यूचुअल फंड
2024 में म्यूचुअल फंड की इक्विटी स्कीमों ने 50% तक का मुनाफा दिया। 2025 में 20% से 35% तक रिटर्न मिलने की संभावना है।
- कुल निवेश का 10% SIP के रूप में लगाएं।
- न्यूनतम तीन साल का निवेश करें।
एफडी और पीएफ
2024 में एफडी पर 7% से 9.40% और पीएफ पर 8.1% ब्याज मिला। 2025 में केंद्रीय बैंक द्वारा दरों में कटौती होने पर इन पर मिलने वाला ब्याज घट सकता है।
महंगाई और ब्याज दरें
2024 में महंगाई के कारण ऊंची ब्याज दरें बनी रहीं। 2025 में अगर फसल उत्पादन अच्छा रहा और देशों के बीच तनाव कम हुआ, तो महंगाई दर घट सकती है।
- आरबीआई फरवरी 2025 में रेपो दर में कटौती कर सकता है।
- ब्याज दरों में गिरावट से खपत बढ़ेगी और अर्थव्यवस्था को मजबूती मिलेगी।
सवाल-जवाब
सवाल: मुझे पांच साल में 10 लाख रुपये जुटाने हैं। बीमा या म्यूचुअल फंड में कौन बेहतर है?
जवाब: बीमा जोखिम सुरक्षा के लिए उपयुक्त है, लेकिन म्यूचुअल फंड बेहतर रिटर्न प्रदान करता है। आप SIP के जरिए दो-तीन अलग-अलग इक्विटी स्कीमों में निवेश करें। नियमित निवेश से आप अपने लक्ष्य तक पहुंच सकते हैं।
“`
### **Instructions to Use**
1. Copy the code above.
2. Paste it into the “Text” or “HTML” editor of your WordPress post editor.
3. Save or publish the article to make it live.